देश के यशस्वी प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी की मंशा के अनुसार, गरीब जनता को पक्का घर मुहैया कराना है। जिसके लिए मोदी जी ने 22 जनवरी 2015 को शहरी और ग्रामीण क्षेत्र के लिए प्रधानमंत्री आवास योजना की शुरुआत की है। इस योजना के माध्यम से केंद्र सरकार झुग्गी झोपड़ियों, कच्चे मकानों और बेघर लोगों को मकान बनवाने के लिए उचित सब्सिडी प्रदान कर ऋण उपलब्ध करा रही है, ताकि भारत की गरीब जनता अपने घर का स्वप्न पूरा कर सके। केंद्र की मोदी सरकार देश में हाउसिंग फॉर ऑल के मिशन को पूरा करने के लिए प्रयासरत है और अब तक देश के करोड़ों लोगों को इस योजना का लाभ मिल चुका है।
1. भारत का स्थाई नागरिक हो।
2. आवेदक की उम्र 18 वर्ष और उससे अधिक।
3. आवेदक के पास मकान नहीं होना चाहिए।
4. बीपीएल धारक और निम्न आय वर्ग के व्यक्ति।
5. EWS वर्ग के आवेदक जिनकी वार्षिक आय 3 लाख से कम हो।
6. LIG वर्ग के आवेदक जिनकी वार्षिक आय 6 लाख से 10 लाख रुपए तक हो।
7. MIG 1 वर्ग के आवेदक जिनकी आय 6 लाख रुपए से 12 लाख रुपए तक हो।
8. MIG 2 वर्ग के लोग जिनकी वार्षिक आय 12 लाख से 18 लाख रुपए तक हो।
1. आधार कार्ड।
2. पहचान पत्र।
3. जाति प्रमाण पत्र।
4. आयु प्रमाण पत्र।
5. आय प्रमाण पत्र।
6. राशन कार्ड।
7. मोबाइल नंबर।
8. बैंक खाता (6 महीने का स्टेटमेंट)।
9.एनओसी।
10.पासपोर्ट साइज फोटो।
11. वोटर आईडी कार्ड।
प्रधानमंत्री आवास योजना का लाभ और सब्सिडी अलग-अलग श्रेणी के आधार पर लोगों को प्राप्त होती है। उदाहरण के तौर पर यदि किसी व्यक्ति की वार्षिक आय 3 लाख है तो सरकार द्वारा उसे 2.5 लाख रुपए की सब्सिडी दी जाती है। प्रधानमंत्री आवास योजना के अंतर्गत पहली किस्त के तौर पर 50 हजार रुपए और दूसरी किस्त के तौर पर 1.5 लाख रुपए व आखिरी किस्त 50 हज़ार की प्राप्त होती है। सरकार द्वारा प्रधानमंत्री आवास योजना के अंतर्गत दिए जाने वाले ऋण पर बैंकों की तुलना में कम ब्याज दर होता है और आप आसान मासिक किस्तों में इसे चुका सकते हैं।